लोगस्स

🌹1  -लोगस्स की 4 गाथा ओ में वंदामि शब्द कितनी बार आया हे ❓
🅰 🙏🏻✅2

🌹2- लोगस्स की 4 गाथा ओमे वन्दे शब्द कितनी बार आया है❓
🅰🙏🏻✅3बार

🌹3 - लोगस्स का 1 अन्य नाम क्या है❓
🅰 3✅🙏🏻 Naamstva चतुर्विंशति

🌹4 - लोगस्स में जिणं या जीणे शब्द कितनी बार आया है❓
🅰 ✅🙏🏻4 baar

🌹5 - लोगस्स की तीसरी गाथा में कितने भगवान का वर्णन है❓
🅰 ✅🙏🏻8

🌹6 - 24 तीर्थंकर में स्त्री तीर्थंकर के अगले भगवान कौन हे❓
🅰 🙏🏻✅ मुनिसुव्रत जी

🌹7 - लोगस्स में किस भगवान के 2 नाम लिए गए है❓
🅰 ✅🙏🏻सुविधिनाथ जी

🌹8 - लोगस्स की वो गाथा बताये जिसमे  वंदे, मुनि, रिट्ठा, पासं शब्द आते है❓
🅰 🙏🏻✅कुंथुंअरंच मल्लिं-------------

🌹9 - लोगस्स की वो गाथा बताये जिसमे धर्मनाथ जी का नाम है❓
🅰 🙏🏻✅ सुविहिं च पुफ्फदंतं

🌹10 -लोगस्स के पाठ करने से कौन से लाभ होते है ❓
🅰
✅🙏🏻आरोग्य  & बोधि लाभ

🌹11 - लोगस्स के द्वारा हम अंतिम चरण में क्या प्रार्थना करते है❓
🅰 🙏🏻✅ सिद्धा सिद्धिं मम दिसंतु...... Sidhhi ki prapti ho

🌹12 - भगवानो को किसके समान निर्मल बताया गया❓
🅰🙏🏻✅ चन्द्रमा के समान

🌹13 -लोगस्स के अनुसार तीर्थंकर ने धर्म तीर्थ के द्वारा संसार को केसा बताया है ❓
🅰 🙏🏻🙏🏻✅लोगस्स उज्जोयगरे :- prakasmaan

🌹14 - लोगस्स में अरिष्ट नेमिजि का क्या नाम बताया❓
🅰 🙏🏻✅ रिट्ठनेमिं

🌹15 - महावीर स्वामी का क्या नाम लिया गया है❓
🅰 ✅🙏🏻 वद्धमाणं🙏🏻

🌹16 - मुनि सुव्रत स्वामी भगवान का क्या नाम लिखा गया है❓
🅰 🙏🏻✅ मुनिसुवयं✅

🌹17 - ऋषभ देव भगवान का क्या नाम लिया गया है❓
🅰 🙏🏻✅ उसभ✅🙏🏻

🌹18 - लोगस्स में तीर्थंकर प्रभु का स्वाभाव केसा बताया गया है❓
🅰 🙏🏻✅ सागरवर गम्भीरा:-
Sagar ki tara gambhir

🌹19 - धर्मनाथ भगवान के बाद किनका नाम आता है❓
🅰 🙏🏻✅ शान्तिनाथजी✅🙏🏻

🌹20 - लोगस्स की 1 माला में कितनीबार पाठ किया जाता है❓
🅰🙏🏻✅27

🌹 21 loggas sutra kaha se liya gaya h
🅰🙏🏻✅ Aavashyak Sutra

Micchami dukkadam



             *लोगस्स*

 1⃣ सामायिक सूत्र मे *लोगस्स* का पाठ कौनसा है?
➖ पांचवां पाठ
2⃣ *लोगस्स* का पाठ कौनसे शास्त्र मे आया है?
 ➖ आवश्यक सूत्र

3⃣  प्रतिक्रमण मे *लोगस्स* का कौनसा आवश्यक है?
 ➖ दुसरा आवश्यक।

4⃣ *लोगस्स* के पाठ के अन्य कितने नाम है? कौन कौनसे?
 ➖ चार नाम है।
*चतुर्विशंतिस्तव* , *नामस्तव* , *चउविस्तव* एवं *उत्किर्तन*

5⃣ *लोगस्स* मे कितनी गाथाएं है?
 ➖ सात गाथाएं।

6⃣ *लोगस्स* मे कितने चरण है।
 ➖ 28 चरण है।

7⃣ *लोगस्स* मे अक्षर कीतने हैं?
 ➖256 अक्षर है।

8⃣ *लोगस्स* की पहली गाथा मे क्या है?
 ➖ प्रतिज्ञा है।

9⃣ *लोगस्स* दुसरी, तिसरी, चौथी गाथा मे क्या है?
 ➖ 24 तीर्थंकरों के नाम।

🔟  *लोगस्स* की पांचवीं, छठी,सातवीं गाथा मे क्या है?
 ➖प्रार्थना है।

1⃣1⃣  पुजनीय महापुरुषों को शरीर द्वारा पंचाग नमस्कार करना क्या हैं?
 ➖ *वंदना*

1⃣2⃣ वचन द्वारा स्तुति करना क्या कहलाता है?
 ➖ *कीर्तन*।

1⃣3⃣ *लोगस्स* मे द्रव्य, क्षेत्र, काल, भाव की अपेक्षा से किस प्रकार वर्णन है।
 *द्रव्य की अपेक्षा से* ?
 ➖ 24 तीर्थंकरों के नाम है।

1⃣4⃣ *क्षेत्र की अपेक्षा से*?
➖ इस भरत क्षेत्र के तीर्थंकरों के नाम है।

1⃣5⃣ *काल की अपेक्षा से*?
➖ इस अवसर्पिणी काल के है।

1⃣6⃣ *भाव की अपेक्षा से* ?
 ➖24 तीर्थंकरों की वंदना, स्तुति एवं प्रार्थना  है।

1⃣7⃣ तीर्थंकर को प्रकृति के माध्यम से किस किस से श्रेष्ठ बताया है?
 ➖ सुर्य ,चंद्र और सागर से श्रेष्ठ बताया हैं।
1⃣8⃣   जो राग -द्वेष से रहित है वे कहलाते है?
➖ *वितराग*

1⃣9⃣  जिन्होंने पांचो इन्द्रियों को जित लिया है और कषायों पर विजय प्राप्त की हैै उन्हें क्या कहते है?
 ➖ *जिन*

2⃣0⃣ *लोगस्स* मे तीर्थंकर की कितनी विशेषता है?
➖ 11

2⃣1⃣ जो स्वयं तिरता है और दुसरों को तिराता उन्हें क्या कहते है ?
 ➖ *तीर्थ*

2⃣2⃣ *तीर्थ* कीतने है ? कौन कौनसे?
 ➖ तीर्थ 4 हैं  :- साधु ,साध्वी, श्रावक, श्राविका।

2⃣3⃣  तीर्थ की स्थापना करनेवाले क्या कहलाते है?
➖ *तीर्थंकर*

2⃣4⃣ *लोगस्स* मे  *'च'* का उपयोग कितनी बार किया गया है? इसका अर्थ क्या है?
➖ *च* का उपयोग 11 बार किया है, इस शब्द का अर्थ *और*है।

2⃣5⃣ *लोगस्स* मे  *वंदे* शब्द कितनी बार आया हैं?
 ➖ 3 बार।
उसभमजियं च वंदे ,चंदप्पहं वंदे ,मल्लिं वंदे।

2⃣6⃣  *लोगस्स* मे *वंदामि* शब्द कितनी बार आया है?
 ➖ 2 बार ।
संतिं च वंदामि , नमिजिणं च वंदामि ।

2⃣7⃣  *लोगस्स* के पाठ मे तीर्थंकर की क्या विशेषता बताई गई हैं?
 ➖ तीर्थंकर भ.बुढापा एवं मृत्यु से मुक्त है।

2⃣8⃣ *लोगस्स* का पाठ शाश्वत किस अपेक्षा से है?
➖ वंदना, प्रार्थना एवं स्तुति वहीं रहती है ,इस अपेक्षा से शाश्वत है।

2⃣9⃣ *लोगस्स* का पाठ *अशाश्वत* किस अपेक्षा से है?
➖ 24 तीर्थकरों के नाम बदले है इस अपेक्षा से अशाश्वत है।

3⃣0⃣ *लोगस्स* के पाठ का प्रयोजन क्या हैं?
 ➖ *लोगस्स* मे  24 तीर्थंकरकी स्तुति की गई हैं, जो हमारे *इष्टदेव* है ,इनका जाप करने से जीवन पवित्र और दिव्य बनता है ।
 है

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